पूर्वी उत्तर प्रदेश के विकास के लिए सभी संस्थानों और विभागों को एक साथ जुड़ना होगा.
गोरखपुर विश्वविद्यालय में आयोजित तीन दिवसीय मेगा वेबिनार का हुआ समापन.
समापन समारोह पर मुख्य अतिथि के तौर पर वर्चुअली मौजूद रहे मुख्यमंत्री.
सीएम ने कहा – नकारात्मक सोच की वजह से पूर्वांचल का विकास पिछड़ रहा.
स्थानीय स्तर पर करना होगा पूर्वांचल की समस्याओं का समाधान.
लखनऊ, प्रदेश सरकार के नियोजन विभाग व दीन दयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय की ओर से तीन दिवसीय “पूर्वांचल का सतत विकास, मुददे, रणनीति एवं भावी दिशा” विषय पर आयोजित मेगा राष्ट्रीय वेबिनार के शनिवार को समापन समारोह को मुरादाबाद से वर्चुअली सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि क्षेत्रीय विषमता हमेशा प्रगति में बाधक होती है। प्रदेश के विकास के लिए चार आर्थिक जोन पूर्वांचल, पश्चिमांचल, मध्यांचल व बुंदेलखंड में बांट कर दो विकास बोर्डों पूर्वांचल व बुंदेलखंड का गठन किया, ताकि आर्थिक विषमताओं को दूर किया जा सकें। उन्होंने कहा कि पूर्वांचल के विकास के लिए सभी संस्थानाओं व विभागों को एक साथ जुड़ कर कार्य करना होगा। वेबिनार में विद्वानों के जो सुझाव आएं है, उन पर मिलकर मंथन करना होगा।
पूर्वांचल के विकास के लिए बनेगी समिति
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि पूर्वांचल के सतत विकास पर तीन दिवसीय मंथन में निकले निष्कर्ष पर नीति बनाने के लिए मंत्रिमंडलीय उप समिति बनाई जाएगी। यह समिति इस वेबिनार व संगोष्ठी में आए सुझावों व अनुशंसाओं पर अध्ययन कर अपनी रिपोर्ट देगी। आने वाले समय में पूर्वांचल में आर्थिक विकास के साथ सामाजिक उन्नयन भी दिखेगा। उन्होंने पूर्वांचल के समग्र व सतत विकास के लिए नियोजन विभाग और पूर्वांचल विकास बोर्ड को इस दिशा में हर संस्था को जोड़ने को प्रेरित किया।
इंसेफेलाइटिस पर पाया काबू
मुख्यमंत्री ने कहा कि इंसेफेलाइटिस के चलते पचास हजार से अधिक मौतें हुईं। राज्य के 38 जिले इससे प्रभावित थे। 2017 में सरकार ने इसकी रोकथाम के लिए स्वास्थ्य विभाग को नोडल बनाकर अन्य कई विभागों को इसमें शामिल किया। सबके प्रयास से तीन साल में इस पर काबू पाया गया। इस पर कोई अतिरिक्त बजट नहीं दिया गया। इसी रणनीति को कोरोना के रोकथाम में भी इस्तेमाल किया गया। जिसकी सराहना डब्लूएचओ ने की है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हम भगवान बुद्ध के अप्प दीपो भव मंत्र का सही पालन नहीं कर पाए। प्रकृति की कृपा कहीं अधिक है तो कहीं कम लेकिन पूर्वांचल भाग्यशाली है, जो प्राकृतिक रूप से काफी समृद्ध है। प्रथम मानव की सृष्टि पूर्वांचल में हुई। सभ्यता की सबसे प्राचीन भूमि होने के बाद भी हम सबसे पिछड़े रहे, अपने को गरीब समझते रहे। मुख्यमंत्री ने कहा कि मैने पूर्वी उत्तर प्रदेश के सभी जनपदों को दौरा किया है। मुझे कहीं भी जल की कमी नहीं नजर आई। मानवीय सभ्यता के जो मुख्य कारक थे, वह यहां सबसे अधिक मात्रा में मौजूद हैं।
स्थानीय स्तर पर करना होगा समस्याओं का समाधान
मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले तीन दिनों तक पूर्वांचल के विकास के लिए जो मंथन चला है, उसमें समस्याओं का समाधान स्थानीय स्तर पर और स्थानीय संस्थानों के माध्यम से करना होगा। प्रति व्यक्ति आय में बढ़ोत्तरी की संभावनाएं है, उसे आगे बढ़ाया जा सकता है। कृषि अनुसंधान केन्द्रों को कृषि विश्वविद्यालय से जोड़ा गया है ताकि किसानों का उत्पादन बढ़ाकर उपज का बेहतर मूल्य दिलाया जा सके। उपज को मार्केट तक पहुंचाने के लिए एक्सपोर्ट पालिसी लाकर व्यापक संभावना तैयार की है।
पूर्वांचल में पर्यटन की अपार संभावनाएं
मुख्यमंत्री ने कहा कि सर्विस सेक्टर में यहां अपार संभावनाएं है। 6 बौद्ध पर्यटन स्थलों में 5 पूर्वी क्षेत्र में है। हमें पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए अच्छे होटलों की चेन बनानी होगी। टूरिस्ट गाइड तैयार करने होंगे। आवागमन के लिए सुविधा को बढ़ाना होगा। कुशीनगर व अयोध्या में अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे बनाए जा रहे हैं। पूर्वांचल एक्सप्रेस वे पूर्वी क्षेत्र की अर्थव्यवस्था की ‘बैक बोन’ बनेगा। यह वहां के विकास के क्रम को आगे बढ़ाएगा पूर्वांचल के युवाओं को यहीं रोजगार मिलेगा।
युवाओं तक शासन की योजनाएं पहुंचाएं शैक्षिक संस्थान
मुख्यमंत्री ने कहा कि शासन की योजनाओं की जानकारी युवाओं को नहीं हो पा रही है। युवाओं को प्रधानमंत्री मुद्रा योजना, ओडीओपी योजना, मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना, स्टार्टअप योजना, स्टैण्डअप योजना, आत्मनिर्भर भारत योजना आदि की जानकारी नहीं है। इन योजनाओं को युवाओं तक पहुंचाने की जिम्मेदारी विश्वविद्यालयों व शैक्षिक संस्थानों को उठानी होगी। साथ ही संस्थानों को सैद्धांतिक ज्ञान के साथ व्यावहारिक ज्ञान से भी जुड़ना होगा।
नई शिक्षा नीति के क्रियान्वयन के लिए बनाएं कमेटी
मुख्यमंत्री ने कहा कि नई शिक्षा नीति पूरे देश में व्यापक परिवर्तन का आधार बनने जा रही है। सभी शैक्षिक संस्थान एक कमेटी का गठन करें और इसके लिए एक कार्ययोजना को तैयार करें। शासन की योजनाओं को कैसे प्रभावी बनाया जाए और उसे युवाओं तक कैसे पहुंचाया जाए, इसकी कार्ययोजना भी तैयार करना होगी।
चीन की निर्भरता खत्म की
सीएम योगी ने कहा कि दीपावली पर दीयों से लेकर लक्ष्मी-गणेश की मूर्तियों तक के लिए पहले हम चीन पर निर्भर थे जबकि यूपी में सभी संसाधन मौजूद है। उत्तर प्रदेश सरकार ने चीन पर निर्भरता को खत्म किया। इससे दिवाली पर हर घर में मिट्टी के दीये जले। स्थानीय कारीगरों की बनाई लक्ष्मी गणेश की मूर्तियों की पूजा हुई। इससे स्थानीय कारीगरों की आत्मनिर्भरता और कारोबार को बढ़ावा मिला।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्वांचल के विकास की पहल गोरखपुर विश्वविद्यालय ने की है। विकास के लिए सभी संस्थानों और विभागों को एक साथ जुड़ना होगा। तब इसके सार्थक परिणाम देखने को मिलेंगे। नकारात्मक सोच की वजह से पूर्वांचल में गरीबी व पिछड़ापन देखने को मिला है। विकास में बाधक लोगों को दूध से मक्खी की तरह निकालना होगा। सकारात्मक सोच के साथ ही पूर्वांचल के विकास के साथ जुड़ना होगा।
कार्यक्रम में वर्चुअल जुड़े विशिष्ट अतिथि केंद्रीय आयुष राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्रीपद यशोनाइक ने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पूर्वांचल के सतत विकास को लेकर पूरी तरह से प्रतिबद्ध है। उनके नेतृत्व में पूरे प्रदेश का तेजी से विकास हो रहा है। उन्होंने कहा कि इस वेबिनार में शामिल होना मेरा सौभाग्य है।