
लौटनराम निषाद ने राष्ट्रीय एकता की दिलाई शपथ, कहा- अखण्ड भारत के प्रतीक है लौह पुरुष। भाजपा द्वारा सरदार पटेल की जयंती मनाना पीडीए के साथ छलावा-सांसद लालजी वर्मा।
तारून(अयोध्या)। स्थानीय क्षेत्रांतर्गत रामनगर-खपङैला में अर्जक संघ के सौजन्य से अशोक वर्मा के संयोजकत्व व बाबू बैजनाथ मुखिया की अध्यक्षता में अखंड भारत के शिल्पी लौह पुरूष भारत रत्न सरदार बल्लभ भाई पटेल की 150वीं जयन्ती राष्ट्रीय एकता दिवस के रूप में बङे धूमधाम से मनाई गई। समारोह को बतौर मुख्य अतिथि अम्बेडकर नगर के सांसद लालजी वर्मा ने अपने संबोधन में कहा कि भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के प्रमुख नेता सरदार वल्लभ भाई पटेल थे। जिन्होंने महात्मा गांधी जी के साथ विभिन्न आन्दोलन में भाग लिया। कई बार उन्हें अपनी सक्रिय भागीदारी के लिए जेल भी जाना पड़ा था। उस समय 1947 में खण्ड-खण्ड भारत हमे मिला था। उसे अखण्ड बनाने का काम लौह पुरूष सरदार वल्लभ भाई पटेल ने किया था। पटेल जी ने ब्रिटिश सरकार के खिलाफ लोगों को संगठित एवं एकजुट करने काम किया।
स्वतंत्रता के बाद उनका सबसे महत्वपूर्ण योगदान रियासतों का एकीकरण करना था। उन्होने 562 रियासतों को भारतीय संघ में एकीकृत किया, जिससे उन्हें भारत का लौह पुरूष कहा जाता है।उन्होंने कहा कि सरदार पटेल ने अंग्रेज की मुखबिरी करने वाली आरआरएस पर प्रतिबंध लगाने का काम किये।आज आरआरएस नियंत्रित भाजपा सरकार द्वारा सरदार पटेल की जयंती मनाना पीडीए को झूठा छलावा देने का षडयंत्र है।
समाजवादी पिछड़ावर्ग प्रकोष्ठ के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष व गोशाईंगंज विधानसभा के प्रभारी चौ.लौटनराम निषाद ने कहा कि अखण्ड भारत के निर्माता, राष्ट्रीय एकता के सुत्रधार, स्वतंत्र भारत के प्रथम गृह मंत्री व लौह पुरूष सरदार वल्लभ भाई पटेल जी के जयन्ती पर आज सब लोग शत्-शत् नमन करते हैं और उनके दिखाये पद चिन्हों पर चलते हुए विकसित भारत के सपनों साकार करने का संकल्प लेते हैं।उन्होंने कहा कि वर्णव्यवस्थाकी पोषक आरआरएस के इशारे पर चलने वाली भाजपा संविधान विरोधी कार्य में जुटकर ओबीसी,एससी,एसटी,माइनाॅरिटी विरोधी गुरू गोलवरकर की बंचित ऑफ थाॅट्स व वी ऑर अवर नेशनहुड डिफाइंड की नीतियों को लागू कर पीडीए का संवैधानिक अधिकार छीनने में जुटी हुई है।

समाजवादी लोहिया वाहिनी के राष्ट्रीय सचिव विजय बहादुर वर्मा ने जयंती समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि आजादी के बाद भारत कई टुकड़ों में बंटा हुआ था।उसके बाद सरदार पटेल ने अपने नेतृत्व क्षमता से भारत को जोड़कर अखण्ड भारत का निर्माण किया। उनका जन्म किसान परिवार में हुआ था । जब हौसले बुलन्द थे, वे विषम परिस्थितियों में भी अपने आप को अपने अनुकुल बना लेते थे। अनेक कठिन प्रयासों के बाद सरदार बल्लभ भाई पटेल जी ने भारत को एकता के सूत्र में बाधा और आज हम उनका जन्म दिन एकता दिवस के रूप में मना रहे हैं। हमें एक श्रेष्ठ भारत मिला लेकिन भारत को अब विकसित भारत की श्रेणी मे लाना है।
समाजवादी पार्टी के प्रदेश सचिव के.के वर्मा ने कहा कि सरदार पटेल की 150वीं जयंती पर आज हम लोग उनको इसलिए याद कर रहे हैं क्योकि यदि वह नहीं होते तो हमारा देश,एक देश न होता। अंग्रेजों ने जिस प्रकार हमारे देश भारत को छिन्न भिन्न करके हमें दिया था. आज सरदार पटेल की ही देन है कि उन्होंने अपनी कूटनीति, राजनीति के बल पर एक सूत्र में पिरो कर, एक करके मजबूत भारत बनाया। उन्होंने कहा कि आज हम सरदार पटेल को आजादी के समय से जानते हैं, लेकिन आजादी से पहले स्वतंत्रता संग्राम में भी उनका अहम योगदान रहा है।अखिल भारतीय सेवा का गठन सरदार पटेल ने ही किया है। सरदार पटेल का उद्देश्य देश को एक बनाए रखने के लिए संविधान सर्वाेपरि है ।
सरकार की जो भी नीतियां होती हैं वो संविधान में दिए गए व्यवस्थाओं के अनुसार ही होती है,लेकिन भाजपा सरकार संविधान विरोधी कार्यों में लिप्त होकर चंद गुजराती बनियों को लाभ पहुंचाने के लिए देश कमजोर करने में जुटी हुई है। अशोक वर्मा ने उपस्थित युवाओें, छात्र- छात्राओं को सरदार पटेल के जीवन कर्तव्यों को पढ़ते हुए अपने जीवन में आत्मसात करने की अपील किया। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल का निर्णय भारत देश के लिए एक अहम निर्णय हुआ करता था। लौह पुरुष कोई ऐसे ही नहीं हों जाता. उनका निर्णय ही उसे लौह पुरुष बनाता है। उन्होंने भारत देश के लिए कई अहम निर्णय लिए जो भारत को अखंड भारत के रूप में दर्शाता है।
अखण्ड भारत के शिल्पी सरदार वल्लभभाई पटेल की जयन्ती पर आयोजित सेमिनार को सपा के प्रदेश सचिव के.के.पटेल,विजयवहादुर वर्मा,अवधेश यादव, जगन्नाथ पाल, गुरूप्रसाद निषाद, राजेश पटेल,रामदास वर्मा,सुरेंद्र कुमार बागी,विनोद यादव, आशा केवट, कर्मवीर वर्मा,मयाराम वर्मा,राजेन्द्र प्रसाद वर्मा,शिवपाल पाल,अमरजीत वर्मा,अशोक वर्मा,सत्यप्रकाश कोरी,जयप्रकाश पटेल आदि ने सम्बोधित किया।























