मनुष्य और वन्यजीव सुरक्षित करने के व्यापक इंतजाम-अरुण सक्सेना

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मनुष्य और वन्यजीव सुरक्षित करने के व्यापक इंतजाम-अरुण सक्सेना
मनुष्य और वन्यजीव सुरक्षित करने के व्यापक इंतजाम-अरुण सक्सेना
आर.के.यादव
आर.के.यादव

मनुष्य और वन्यजीव सुरक्षित करने के लिए व्यापक इंतजाम। सीसीटीवी, ड्रोन समेत अन्य आधुनिक उपकरणों से होगी निगरानी। मानव-वन्य जीव संघर्ष की समस्या प्रदेश में वन क्षेत्रों से सटे ग्रामीण क्षेत्रों में बाघ, तेन्दुआ एवं भेड़िया के कारण मानव-वन्यजीव संघर्ष की घटनाएं प्रकाश में आ रही हैं। मनुष्य और वन्यजीव सुरक्षित करने के व्यापक इंतजाम-अरुण सक्सेना

लखनऊ। मनुष्य और वन्य जीवों को सुरक्षित रखना हमारी पहली प्राथमिकता है। वन्यजीव के हमलों से मनुष्य को सुरक्षित रखने के लिए व्यापक इंतजाम किए गए है। यह बात शनिवार को वन मुख्यालय के परिजात भवन सभागार में पत्रकारों से बातचीत करते हुए वन एवं जलवायु परिवर्तन राज्यमंत्री अरुण सक्सेना ने कही। उन्होंने कहा कि मानव-वन्यजीव संघर्ष तब होता है जब मनुष्यों और वन्यजीवों के बीच मुठभेड़ नकारात्मक परिणामों की ओर ले जाती है। इसके फलस्वरूप सम्पत्ति,अजीबिका और कभी-कभी जीवन का नुकसान भी होता है। इन मुठभेड़ों के परिणामस्वरूप मानव-वन्यजीव दोनों को तुरंत प्रभावित होना पड़ता है। जैसे-जैसे मानव आबादी व स्थान की मांग बढ़ती जा रही है, लोगों और वन्यजीवों के बीच परस्पर क्रिया और संसाधनों के लिए प्रतिस्पर्धा बढ़ती जा रही है। इस कारण मानव-वन्यजीव संघर्ष में वृद्धि होती है। प्रदेश एक विशाल प्रदेश है, जिसका कुल क्षेत्रफल 2.43 लाख वर्ग कि0मी0 आबादी 25.70 करोड़ है। उत्तर प्रदेश में वन्य जीव जनित मानव वन्यजीव संघर्ष की घटनाएं, वन्य जीवों की असामयिक मृत्यु, वन्य जीवों की आबादी क्षेत्र में आवाजाही की बढ़ती घटनाएं, को न्यून करने के दृष्टिकोण से उत्तर प्रदेश वन विभाग लगातार स्थानीय लोगों के सहभागिता से सह-अस्तित्व की दिशा में प्रयास कर रहा है।

मानव-वन्य जीव संघर्ष की समस्या प्रदेश में वन क्षेत्रों से सटे ग्रामीण क्षेत्रों में बाघ, तेन्दुआ एवं भेड़िया के कारण मानव-वन्यजीव संघर्ष की घटनाएं प्रकाश में आ रही हैं। इन घटनाओं को विभाग द्वारा अत्यन्त गम्भीरता से लेते हुए तत्काल उचित कार्यवाही की जा रही है। उन्होंने बताया कि पीड़ित व्यक्ति के परिवार को नियमानुसार आर्थिक सहायता/मुआवजा दिलाने की त्वरित कार्यवाही सुनिश्चित की जा रही है। दिनांक 01.01.2024 से 20.08.2024 तक हिंसक वन्यजीव तथा बाघ एवं तेन्दुआ द्वारा मारे/घायल किए गए व्यक्तियों के आश्रितों को रू0 156.00 लाख की अनुग्रह आर्थिक सहायता धनराशि स्वीकृत की गई है। वार्ता के दौरान अपर मुख्य सचिव वन मनोज कुमार सिंह, वन विभाग के संजय श्रीवास्तव समेत अन्य अधिकारी मौजूद थे।