मुख्य सचिव ने चिकित्सा शिक्षा विभाग के फेज-2 के अंतर्गत 06 स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय की अद्यतन प्रगति एवं ट्रामा व इमरजेन्सी मेडिकल सुविधाओं की समीक्षा की।चिकित्सा शिक्षा विभाग के अन्तर्गत संचालित एंबुलेंस का सुदृढ़ीकरण, जीपीएस ट्रैक सिस्टम और प्रशिक्षित तकनीकी स्टाफ में वृद्धि की जाए।निर्माणाधीन राज्य चिकित्सा विश्वविद्यालयों का कार्य निर्धारित उच्च गुणवत्ता के साथ निर्धारित समयावधि में पूरे किये जाएं।
लखनऊ। मुख्य सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्र ने चिकित्सा शिक्षा विभाग के फेज-2 के अंतर्गत 06 स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय के निर्माण कार्यों की अद्यतन प्रगति एवं ट्रामा व इमरजेन्सी मेडिकल सुविधाओं की समीक्षा की। मुख्य सचिव ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग के अन्तर्गत संचालित एंबुलेंस का सुदृढ़ीकरण, जीपीएस ट्रैक सिस्टम और प्रशिक्षित तकनीकी स्टाफ में वृद्धि की जाए। साथ ही इंटीग्रेटेड ट्रामा और इमरजेंसी सेंटर की स्थापना सभी जिलों में हो। सभी मेडिकल कॉलेजों में इमरजेंसी ट्रेनिंग सेंटर बनवाये जाए। ट्रामा सेंटर में जो बेड की कमियां हैं उसको जल्द से जल्द दूर किया जाए। साथ ही उन्होंने ट्रामा सेंटरों में स्टाफ की नियुक्ति पूरी करने और अस्पतालों में एंबुलेंस की संख्या बढ़ाने के भी उन्होंने निर्देश दिए हैं।उन्होंने कहा कि कार्यदायी संस्थाएं निर्धारित समयावधि में कार्यों को पूरा करें। निर्माण राशि के उपयोग में अनियमितता तथा निर्माण कार्य में ढिलाई करने पर विभागीय कार्यदायी संस्था के खिलाफ कार्रवाई होगी।
प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा आलोक कुमार ने अवगत कराया कि प्रदेश में फेज-2 के अन्तर्गत 6 स्वशासी राज्य चिकित्सा विश्वविद्यालय में कार्य कराये जा रहे हैं। स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय (हरदोई) का 81 प्रतिशत, मां विन्ध्यवासिनी स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय (मिर्जापुर) का 72 प्रतिशत, महर्षि विश्वामित्र स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय (गाजीपुर) का 81 प्रतिशत, माधव प्रसाद त्रिपाठी स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय (सिद्धार्थनगर) का 96 प्रतिशत, महर्षि देवरहा बाबा स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय (देवरिया) का 97 प्रतिशत और डॉ0 सोनेलाल पटेल स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय (प्रतापगढ़) का 88 प्रतिशत कार्य पूर्ण हो चुका है। इस पर मुख्य सचिव ने चिकित्सा महाविद्यालयों का अवशेष निर्माण कार्य निर्धारित समय-सारिणी के अनुसार पूरा करने के निर्देश दिये।बैठक में प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा आलोक कुमार, सचिव एवं महानिदेशक चिकित्सा शिक्षा श्रुति सिंह, यूपी राजकीय निर्माण निगम के एमडी सहित सम्बन्धित विभागों के अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण मौजूद थे।