

भारतीय आदर्श योग संस्थान के नेतृत्व में 21 दिसंबर को लखनऊ में भव्य योग ध्यान दिवस का आयोजन, बड़ी संख्या में जुटेंगे योग प्रेमी। मोती महल वाटिका में सुबह 8 बजे से होगा योग-ध्यान कार्यक्रम। 21 दिसंबर को लखनऊ में भव्य ध्यान दिवस का आयोजन
लखनऊ। भारतीय आदर्श योग संस्थान द्वारा योग और स्वस्थ जीवनशैली को जन-जन तक पहुँचाने के उद्देश्य से योग ध्यान दिवस का भव्य आयोजन किया जा रहा है। यह आयोजन संस्थान के वरिष्ठ योगाचार्य के.डी. मिश्रा एवं योग प्रशिक्षक राज कुमार के कुशल नेतृत्व में दिनांक 21 दिसंबर 2025, रविवार को प्रातः 8:00 बजे से मोती महल वाटिका, राणा प्रताप मार्ग, लखनऊ में संपन्न होगा। आयोजकों के अनुसार, आज की भागदौड़ भरी जीवनशैली में तनाव, अनिद्रा, उच्च रक्तचाप, मधुमेह जैसी समस्याएँ तेजी से बढ़ रही हैं। ऐसे में योग और ध्यान ही एक ऐसा माध्यम है, जो बिना दवा के शरीर और मन को स्वस्थ रखने में सहायक है। इसी उद्देश्य से योग ध्यान दिवस का आयोजन किया जा रहा है, ताकि अधिक से अधिक लोग योग के महत्व को समझें और इसे अपने दैनिक जीवन में अपनाएं।
संयुक्त राष्ट्र ने 21 दिसम्बर को विश्व ध्यान दिवस के रूप में घोषित किया। इस ऐतिहासिक पहल के लिए भारत को वैश्विक भागीदार के रूप में नामित किया गया था। 21 दिसम्बर को इसलिए चुना गया क्योंकि यह संक्रांति का प्रतीक है- दुनिया भर में प्राकृतिक परिवर्तन और नवीकरण का दिन, जो अंधेरे से प्रकाश की ओर बदलाव का प्रतीक है। 21 दिसम्बर, 2025 को विश्व भर से 10 लाख से अधिक लोग 20 मिनट के लिए एक साथ ध्यान सत्र में शामिल होंगे। हम हृदय आधारित ध्यान के माध्यम से स्वयं के भीतर उतरने का प्रयास करेंगे। जब सभी हृदय एक समान इरादे के साथ एक साथ आते हैं, तो कुछ गहन उभर कर सामने आता है।
योगाचार्य के.डी. मिश्रा ने कहा कि ध्यान योग में उपस्थिति महत्त्वपूर्ण है क्योंकि शोध से पता चलता है कि एक साथ ध्यान करने से अनुभव गहन हो जाता है। जब हम एक साथ अभ्यास करते हैं, तो व्यक्तिगत अनुभव अक्सर गहन हो जाते हैं। हमारा सामुहिक प्रयास सकारात्मक प्रभाव उत्पन्न करता है और इससे हम अपने समुदाय में शान्ति प्रसारित करते हैं। आपका इसमें शामिल होना ही शांति हेतु आपका योगदान है। इस वैश्विक आयोजन का हिस्सा बनें। हर महाद्वीप में फैली सामूहिक चेतना की लहर में अपने संकल्प को जोड़ें। आपकी उपस्थिति एक संख्या के रूप में नहीं, बल्कि इस ऐतिहासिक क्षण के एक स्वागत योग्य सदस्य के रूप में महत्त्वपूर्ण है।

इस अवसर पर योग प्रेमी, स्वास्थ्य के प्रति जागरूक नागरिक, युवा वर्ग, महिलाएं एवं वरिष्ठ नागरिक बड़ी संख्या में भाग लेंगे। कार्यक्रम पूर्णतः निःशुल्क है और सभी आयु वर्ग के लोगों के लिए उपयोगी रहेगा।
कार्यक्रम की विस्तृत रूपरेखा इस प्रकार है—
प्रार्थना,ओम का उच्चारण 11 बार, जिससे मन को एकाग्रता एवं सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त हो। खड़े होकर सूक्ष्म क्रियाएं एवं योगासन– ताड़ासन, कटि सौंदर्यासन, कटि चक्रासन, संतुलन आसन (वृक्षासन), अर्ध चक्रासन, हस्त-पाद आसन, महाप्राणायाम (20 बार), हाथों की सूक्ष्म क्रियाएं, गर्दन की सूक्ष्म क्रियाएं, आंखों की सूक्ष्म क्रियाएं, इन अभ्यासों से शरीर में लचीलापन, संतुलन और ऊर्जा का संचार होता है, साथ ही रीढ़, गर्दन और आंखों से जुड़ी समस्याओं में भी लाभ मिलता है।
ध्यान सत्र- 30 मिनट का ध्यान, जिससे मानसिक शांति, एकाग्रता और तनाव में कमी आती है।
भ्रामरी प्राणायाम- 10 बार भ्रामरी प्राणायाम, जो मानसिक तनाव, क्रोध और चिंता को कम करने में अत्यंत प्रभावी माना जाता है।
आयोजकों ने लखनऊ के सभी नागरिकों से अपील की है कि वे इस योग ध्यान दिवस में सहभागिता कर योग को अपनी दिनचर्या का हिस्सा बनाएं और स्वस्थ, तनावमुक्त जीवन की ओर कदम बढ़ाएं।

ध्यान आसान के लाभ–
ध्यान आसन के अनेक लाभ हैं, जिनमें तनाव कम करना, मानसिक स्पष्टता, बेहतर एकाग्रता, भावनात्मक संतुलन और शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार शामिल है, जो आपको आंतरिक शांति और जीवन शक्ति प्रदान करते हैं, चिंता-अवसाद घटाते हैं और आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाते हैं।
मानसिक और भावनात्मक लाभ:-
तनाव और चिंता में कमी:- यह कोर्टिसोल (तनाव हार्मोन) को कम करके और हृदय गति को धीमा करके तनाव के शारीरिक लक्षणों को कम करता है.
बेहतर एकाग्रता और याददाश्त:- यह आपको लंबे समय तक ध्यान केंद्रित करने में मदद करता है और मानसिक स्पष्टता बढ़ाता है.
भावनात्मक संतुलन:- चिड़चिड़ापन, गुस्सा और नकारात्मक भावनाओं को कम करता है, जिससे आप शांत और अधिक लचीले बनते हैं।
आत्म-जागरूकता:- आपको अपनी भावनाओं और विचारों को बेहतर ढंग से समझने में मदद करता है।
बेहतर नींद:- नींद आने में लगने वाले समय को कम करता है और नींद की गुणवत्ता में सुधार करता है।
शारीरिक लाभ:-
रक्तचाप नियंत्रण: रक्तचाप को कम करने में मदद करता है, जिससे हृदय स्वस्थ रहता है।
पाचन में सुधार:- तनाव कम होने से पाचन तंत्र बेहतर काम करता है, सूजन और कब्ज जैसी समस्याएं कम होती हैं।
रोग प्रतिरोधक क्षमता:- आंतरिक अंगों की मालिश और लसीका परिसंचरण बढ़ाकर प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत करता है।
दर्द से राहत:- पुराने दर्द को कम करने और भावनाओं को नियंत्रित करने में मदद करता है।
दैनिक जीवन में लाभ:-
बढ़ी हुई ऊर्जा और जीवन शक्ति:- शरीर में ऑक्सीजन और पोषक तत्वों के प्रवाह को बढ़ाकर ऊर्जा बढ़ाता है।
खुशहाल रिश्ते और बेहतर उपस्थिति:- रिश्तों में सकारात्मकता लाता है और आपको वर्तमान में रहने में मदद करता है। ध्यान आसन (जैसे पद्मासन, सुखासन, वज्रासन) आपको लंबे समय तक आराम से बैठने और ध्यान करने के लिए स्थिर और आरामदायक स्थिति प्रदान करते हैं, जो इन सभी लाभों को प्राप्त करने के लिए आवश्यक है। 21 दिसंबर को लखनऊ में भव्य ध्यान दिवस का आयोजन

























